ऊर्जा निगम (UPCL) एक नहीं, बल्कि तीन बड़े मुकदमों में हार गया है — और अब जनता को चुकाना पड़ेगा 783 करोड़ रुपये का बिल।
दरअसल, केंद्रीय विद्युत अपीलीय प्राधिकरण (अपटेल) ने तीन अलग-अलग बिजली कंपनियों — ग्रीनको बुद्धहिल, हिम एनर्जी और गामा कंपनी — के पक्ष में फैसला सुनाया है। इन फैसलों के बाद UPCL को इन कंपनियों को किस्तों में भुगतान करना होगा।
➡️ ग्रीनको बुद्धहिल केस: 233 करोड़ रुपये चुकाने का आदेश।
➡️ हिम एनर्जी केस: 300 करोड़ रुपये का भुगतान।
➡️ गामा कंपनी केस: सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद 250 करोड़ रुपये देने होंगे।
यानी कुल मिलाकर करीब ₹783 करोड़ रुपये UPCL को देना है।
लेकिन सबसे बड़ी चिंता की बात यह है कि इस रकम का बोझ अब आम उपभोक्ताओं पर डाला जाएगा।
ऊर्जा निगम अपने घाटे की भरपाई बिजली दरें बढ़ाकर करेगा।
जानकारों के मुताबिक, बिजली बिलों में 10% तक की बढ़ोतरी संभव है।
विद्युत नियामक आयोग के अध्यक्ष एम.एल. प्रसाद ने बताया कि अपटेल के आदेश लागू करने के निर्देश जारी किए जा चुके हैं। निगम को कंपनियों को किस्तों में भुगतान करना होगा ताकि निगम पर अचानक भार न पड़े और कंपनियों को समय पर पैसा मिल सके।

